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रांची/डेस्क: अक्सर हम आम खा कर उसकी गुठलियां फेक देते है. लेकिन क्या आपको पता है ? आम जितने स्वादिस्ट होते है उतने ही इसकी गुठली भी बहुत काम की होती है. आम की गुठलियों को आयुर्वेद में औषधि की मान्यता दी गई है. इसका सेवन करने से पित्त, दस्त, डैंड्रफ, त्वचा और धात के साथ भूख नहीं लगने में यह बहुत कारगर साबित होता है.
आयुर्वेद के अनुसार गुठलियों को जमा कर उसकी ऊपरी परत के जाने के बाद अंदर के बीज को सुखा लें. सुख जाने के बाद इसका चूर्ण बना कर 5 ग्राम दिन में 2 बार सेवन करें. ऐसा करने से पतला दस्त, खुनी दस्त, भूख न लगने की समस्या, पित्त, रुसी और शरीर में पोषक तत्वों की कमी को पूरा करती है. इसके साथ ही आम की गुठलियों के चूर्ण से लिकोरिया का भी समाधान हो जाता है. मिनरल्स, एंटी-ऑक्सीडेंट्स और कई तरह के विटामिन भी आम की गुठली में पाए जाते है. आम की गुठली का चूर्ण बना कर रोजाना सुबह-शाम सेवन करने से 15 दिनों में उपरोक्त सभी समस्याओं से छुटकारा पाया जा सकता है. यह पूरी तरह से सेहत के लिए फायदेमंद है.